Mansik Dakshata

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संसार में सफलता, समृद्धि और सुख पाने के लिये आत्मिक बल और मानसिक कार्यक्षमता आवश्यक है। प्रशिक्षित मन के द्वारा ही लौकिक और पारलौकिक उन्नति की साधना सम्भव है। इस पुस्तक में विद्वान् लेखक श्री राजेन्द्र बिहारी लाल ने मनोविज्ञान की उन सभी शिक्षाओं का संकलन किया है, जो व्यवहार और अनुभव की कसौटी पर खरी उतर चुकी हैं। इसके स्वाध्याय एवं अनुपालन से कोई भी महत्त्वाकांक्षी व्यक्ति अपनी योग्यता को बढ़ा सकता है।

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Publisher – Gita Press
Language – Hindi
Binding – Paperback

Weight .200 kg
Dimensions 7.50 × 5.57 × 1.57 in

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